दा
डायरी
और
बिट्टो
एक रिश्ता
एक अनदेखा
अनजाना शख्स
एक कुछ लिखी इबारत
एक मासूम सी
प्यारी सी लडकी
बंधे हैं
एक डोर से
डोर
रिश्ते की डोर
कोई ताल मेल नही
एक चालीस का
अजीब सा शख्स
एक पीले पड़ते पन्नों का ढेर
एक झोंका खुशबू का
बंधे हैं
रिश्ते की डोर से
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