ये क्या मजाक है,और हैं कहाँ श्रीमान,कोई खेल है क्या?पूछा नही के आखिर वजह क्या है
डॉली के पिता का पारा हाई था
आप शांत हो जाये,मैंने पूछा था,पर उन लोगों को भी पता नही इसकी वजह,शायद वो लोग शाम को आयें
डॉली की माँ बोली
तुम फ़ोन मिलाओ उन्हें,मैं पूछता हूँ
पर वो तो सुबह ही काम के सिलसिले में बाहर निकल गया है,3 या4 दिन में लौटेगा
---------------------------------
बीती सर्दियों में डॉली की मँगनी रजत से हुई थी
रजत एक प्राइवेट फर्म में जॉब पे था और डॉली की पढाई का आखिरी साल
दोनों परिवारो ने इसी साल के आखिर में शादी का तय किया था
मँगनी के बाद दोनों में मुलाकातें हुई और जाहिर है बातें भी हुई
इन मुलाकातों का दोनों परिवारों को पता था
और सब चाहते थे कि दोनों एक दुसरे को जान लें
रजत डॉली को हर सैटरडे कॉलेज से पिक कर लेता
किसी रेस्टोरेंट में दोनों थोडा वक्त बिताते
अपनी बातें शेयर करते
वक्त गुजरता गया
पर इधर कुछ वक्त से डॉली को लगता था कि रजत उसे ईग्नोर कर रहा है
पूछने पर वो बात को टाल गया
बोल कर कि ऐसा कुछ नही,तुम बिना वजह ऐसा सोच रही हो
पर कोई बात तो थी रजत जिसकी वजह से कतरा रहा था डॉली से
वो वजह ढूँढ रही थी और ये खबर
रजत ने शादी से इंकार कर दिया है
--------------------
वो सोचों में डूबी थी तभी
माँ ने कन्धे पे हाथ रखते हुए कहा
खुद को सम्भालो गुडिया,जो नसीब में है वो हो के ही रहेगा
उसने मन की गहराइयों से भगवान को पुकारा
तभी डोरबेल बजी
दरवाजे पे उसकी बड़ी बहन थी
उसे देख डॉली की आन्ख भर आयी सुरभि ने उसे थामा और चुप कराने लगी
खबर को पर लग गये थे जैसे
बुआ भी आ गयी
मासी और चाची भी
मैं कहती थी ना,हमारे समय में भी शादियाँ होती थी,आजकल नया चलन है,ये शादी के पहले मिलना जुलना
चुप करें बुआ,सुरभि ने गुस्सा होते हुए कहा
----------------
शाम तक प्रसाद जी भी अपनी पत्नी के साथ आ गये
प्रसाद जी रजत के पिता थे
भाई साहब,जो हुआ सपने में भी नही सोचा था,डॉली मुझे अपनी बेटी जैसी अज़ीज़ है,हम भी बेटी वाले हैं,समझ सकते हैं,शर्मिदा हैं हम
उसे लौटने दें,दिल न छोटा करें
------------
डॉली को अब तक नही समझ आया था कि आखिर रजत के इतने बड़े फैसले की वजह क्या थी
उसकी रातों की नींदें खो गयी थी
सुरभि ने रजत को कॉल किया तो जवाब मिला
आ कर बताऊंगा
----------
आखिर 10 दिन बाद रजत की वापसी हुई
दुसरे दिन ही वो प्रसाद जी और माँ के साथ डॉली के घर में था
सभी को इंतजार था कि वो शादी टूटने की वजह क्या बताता है
डॉली को बुला लीजिये
इतना सुनते ही डॉली के पिता आपे से बाहर हो गये
प्रसाद जी भी ये सुन गुस्सा हो गये
रजत ने कहा
मेरा डॉली को बुलाने का बस एक मकसद था कि कल को डॉली ये न कह सके कि मैंने झूठ बोला है,जो भी बात है उसके सामने क्लियर हो जाये
डॉली की माँ उसे बुला लायी
हाँ जनाब,अब बताये शादी से इंकार की वज़ह
डॉली के पिता बोले
मैं जानता हूँ कि मेरे डॉली से शादी न करने क़े फैसले से सभी हैरान हैं,और गुस्सा भी
पर सच कहूँ,मैं खुद भी दुखी हूँ
डॉली मुझे पसंद है पर मैं इसके साथ जिंदगी गुजारने को नही सोच सकता
ये देखने में सुन्दर है मगर नेचर से नही
वो रुका
मैं अप सबसे माफ़ी चाहता हूँ क्यूंकि सभी को मेरी बात बुरी लगी
पर मेरी बात पूरी ज़रूर सुन लें
फिर फैसला लें कि मैं सही हूँ या नही
मैं क्या कोई भी लड़का डॉली जैसी लडकी को अपनी जिंदगी में शामिल नही करना चाहेगा
तुम्हें जो कहना है खुल के कहो
डॉली के पिता तमतमा उठे थे
पहली बात डॉली की शक करना
वो हर मुलाकात में मुझसे पूछती की कहाँ गये थे?किसके साथ थे?
हर वक्त अपनी पसंद और अपनी जात का रोना
दुसरे की कोई एहमियत नही
ये सारे रिश्ते से अलग हो के बस मेरे साथ रहना चाहती है
मैं समझ नही पाता कि जब मेरी पसंद नापसंद की एहमियत नही फिर ये कैसे अडजस्ट करेगी
सबसे अहम बात
इसने मुझसे अपने परिवार की एक एक बुराई बताई
हर एक में कमियाँ गिनाई,
अब आप फैसला करें कि
जो लडकी अपने माँ बाप की इज्ज़त न करे,उनका भरम न रख सके,उनकी मुहब्बत का एहसास न हो जिसमें,बस कमियां दिखाई देती हों,वो मेरे माँ बाप की इज्ज़त करेगी?मेरे घर की कमियों को वो समाज तक फैला देगी,
उम्मीद है आप सब को मेरी बात समझ आ गयी होगी
डॉली और उसके माँ बाप का सर झुका हुआ था
डॉली के पिता लडखडाते हुए उठे
बोले
जो लडकियाँ अपने घर को अपना घर नही समझती,माँ बाप परिवार की बुराई करती हैं,ज़िल्लतें ही मिलती हैं उन्हें और उनके माँ बाप को....
No comments:
Post a Comment